शिव पूजा का सबसे बड़ा और पावन दिन महाशिवरात्रि को माना गया है. इस शिव मंदिरों में भक्तों का भारी जमावड़ा देखा जा सकता है. सारे देवों में शिव ही ऐसे देव हैं जो अपने भक्तों की भक्ति-पूजा से बहुत जल्दी ही प्रसन्न हो जाते हैं. इस बार 24 फरवरी को महाशिवरात्रि मनाई जाएगी.
महाशिवरात्रि हिन्दुओं के बड़े त्योहार और व्रतों में से एक माना गया है. मान्यता है कि सृष्टि के प्रारंभ में इसी दिन मध्यरात्रि भगवान शंकर का ब्रह्मा से रुद्र के रूप में अवतरण हुआ था. प्रलय की वेला में इसी दिन प्रदोष के समय भगवान शिव तांडव करते हुए ब्रह्मांड को तीसरे नेत्र की ज्वाला से समाप्त कर देते हैं. इसीलिए इसे महाशिवरात्रि कहा गया है.
इसके अलावा भारत के कई स्थानों पर यह भी माना जाता है कि इसी दिन भगवान शिव का विवाह हुआ था. वैसे तो हर महीने मासिक शिवरात्रि मनाई जाती है लेकिन फाल्गुन के महीने की शिवरात्रि को ही महाशिवरात्रि कहते हैं.
वैसे तो महाशिवरात्रि 24 फरवरी को पड़ रही है लेकिन त्रयोदशी तिथि पड़ने के कारण महाशिवरात्रि का पूजन इस बार 25 फरवरी को किया जाएगा. 25 फरवरी को शनिवार को चतुर्दशी तिथि रात 9:20 तक रहेगी. इस कारण 24 की रात से 25 फरवरी तक महाशिवरात्रि का पूजन किया जा सकेगा.
महाशिवरात्रि हिन्दुओं के बड़े त्योहार और व्रतों में से एक माना गया है. मान्यता है कि सृष्टि के प्रारंभ में इसी दिन मध्यरात्रि भगवान शंकर का ब्रह्मा से रुद्र के रूप में अवतरण हुआ था. प्रलय की वेला में इसी दिन प्रदोष के समय भगवान शिव तांडव करते हुए ब्रह्मांड को तीसरे नेत्र की ज्वाला से समाप्त कर देते हैं. इसीलिए इसे महाशिवरात्रि कहा गया है.
इसके अलावा भारत के कई स्थानों पर यह भी माना जाता है कि इसी दिन भगवान शिव का विवाह हुआ था. वैसे तो हर महीने मासिक शिवरात्रि मनाई जाती है लेकिन फाल्गुन के महीने की शिवरात्रि को ही महाशिवरात्रि कहते हैं.
वैसे तो महाशिवरात्रि 24 फरवरी को पड़ रही है लेकिन त्रयोदशी तिथि पड़ने के कारण महाशिवरात्रि का पूजन इस बार 25 फरवरी को किया जाएगा. 25 फरवरी को शनिवार को चतुर्दशी तिथि रात 9:20 तक रहेगी. इस कारण 24 की रात से 25 फरवरी तक महाशिवरात्रि का पूजन किया जा सकेगा.
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